भोपाल। मध्यप्रदेश से कांग्रेस ने सोमवार को जय बापू, जय भीम, जय संविधान यात्रा की शुरूआत कर दी है। संविधान निर्माता बाबा साहेब अंबेडकर की जन्मस्थली महू में मप्र कांग्रेस द्वारा आयोजित किए गए कार्यक्रम पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी, हिमाचल के सीएम सुखवीर सिंह और कांग्रेस नेता जयराम रमेश समेत पार्टी के तमाम बड़े नेता शामिल हुए। महू में आयोजित जनसभा को संबोधित करते हुए खड़गे और राहुल भाजपा पर जमकर हमला बोला।
खास बात यह रही की खड़गे ने जहां महाकुंभ को लेकर विवादित बयान दे दिया। उन्होंने कहा कि गंगा में डुबकी लगाने से गरीबी खत्म नहीं होगी। वहीं राहुल गांधी ने यहां पर भी अपना पूरा फोकस संविधान पर ही रखा। उन्होंने जनता से अपील की कि वे संविधान के मूल सिद्धांतों को समझें और उसकी रक्षा के लिए एकजुट हों। उनका कहना था कि अगर संविधान कमजोर हुआ, तो देश कमजोर हो जाएगा।
भाजपा चाहती है- हिन्दुस्तान को सिर्फ अरब पति चलाएं
राहुल गांधी ने कहा कि संविधान से पहले गरीबों और आदिवासियों के पास कोई अधिकार नहीं थे। बीजेपी और आरएसएस चाहती है कि आजादी से पहले जो स्थिति थी, वैसा ही भारत वे लोग चाहते हैं। गरीब भूखे मर जाएं, वे लोग कोई सपना नहीं देखें। हिंदुस्तान को सिर्फ अरबपति चलाएं और सारे कॉन्ट्रैक्ट उनके हाथ में चले जाएं। संविधान को लेकर हमारी लड़ाई आरएसएस और बीजेपी के लोगों से है। अंबानी की शादी पर भी इशारों-इशारों में उन्होंने निशाना साधा उन्होंने कहा कि इनकी शादियों में अरबों रुपए खर्च हो रहे हैं। इसके साथ ही इनके बच्चे 10 करोड़ और 12 करोड़ रुपए की घड़ी पहन रहे हैं। अडानी को एयरपोर्ट और पोर्ट का कॉन्ट्रैक्ट मिल जा रहा है।
सारा धन अंबानी-अडाणी को पकड़ाया जा रहा
राहुल गांधी ने कहा कि महात्मा गांधी जी, बाबा साहेब अंबेडकर जी समेत हिंदुस्तान के महापुरुषों की सोच और विचार है संविधान, लेकिन कुछ दिन पहले आरएसएस के मोहन भागवत ने कहा कि हिंदुस्तान को 15 अगस्त 1947 में आजादी नहीं मिली बल्कि मोदी जी के आने के बाद आजादी मिली। उन्होंने राम मंदिर के उद्घाटन को लेकर कहा कि उद्घाटन में किसी गरीब को आपने देखा क्या? राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को इन्होंने मंदिर के उद्घाटन में नहीं जाने दिया। इसके साथ ही संसद भवन के उद्घाटन में भी राष्ट्रपति को नहीं बुलाया गया। प्राइवेट कंपनियों और सरकारी नौकरी में ओबीसी और दलितों की मौजूदगी नहीं है। सारा धन अंबानी और अडाणी को पकड़ाया जा रहा है।
रैली संविधान- और लोकतंत्र बचाने के लिए: खड़गे
वहीं खड़गे ने जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि यह रैली संविधान और लोकतंत्र को बचाने के लिए है। उन्होंने कहा कि महू की धरती में बाबा साहेब अंबेडकर का जन्म हुआ था जिन्होंने देश में दलितों और वंचितों को उनके अधिकार दिलाने का काम किया और कांग्रेस भी यही अलख जगाने आई है। अगर हम सब मिलकर हमारे महापुरुषों के आदर्शों पर चलेंगे तो बीजेपी की सत्ता हिल जाएगी। इस मौके पर उन्होंने डॉ. अंबेडकर के एक पत्र का हवाला देते हुए कहा कि उनकी हार के पीछे सावरकर और डांगे का हाथ था। खड़गे ने कहा कि हम सभी को एकजुट होकर इन्हें सबक सिखाना होगा। बाबा साहब अंबेडकर वह व्यक्ति हैं जिन्होंने दलितों और पिछड़ों को उनका हक दिलाने की पूरी कोशिश की। अगर एक व्यक्ति यह सब कर सकता है तो हम सब मिलकर अंबेडकर क्यों नहीं बन सकते? अगर ऐसा होता है तो बीजेपी की सत्ता पूरी तरह हिल जाएगी।
अंबेडकर ने हमेशा समाज में समानता लाने किया प्रयास
राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा का जिक्र करते हुये उन्होंने कहा कि यह यात्रा उन्होंने लोगों को जोड़ने के लिए और संविधान को बचाने के लिए की है। उन्होंने इस दौरान ने भारत के इतिहास में संविधान में पिछड़ों और दलितों के कल्याण को लेकर बाबा साहब अंबेडकर और जवाहरलाल नेहरू द्वारा किए गए प्रयासों का भी जिक्र किया। भीमराव अंबेडकर ने हमेशा समाज में समानता लाने का प्रयास किया। इसके लिए कई कानून भी बनाए गए और ऐसा करने में उनकी मदद महात्मा गांधी और जवाहरलाल नेहरू ने की। यही कारण बना कि बाबा साहब अंबेडकर संविधान सभा के अध्यक्ष बन सके और देश को ये संविधान दिया। खड़गे ने कहा कि आप एक नहीं होंगे तो आपको मंदिर में प्रवेश नहीं मिलेगा, आपको घोड़ी पर बारात ले जाने के लिए अनुमति नहीं होगी। उन्होंने मध्यप्रदेश के सीधी में हुए पेशाब कांड का जिक्र करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान पर भी उन्होंने निशाना साधा।
बीजेपी-आरएसएस पर निशाना साधते हुए खड़गे ने कहा, वो कहते हैं हर मस्जिद के नीचे शिवलिंग मत ढूंढ़ो लेकिन लोगों को ऐसा करने के लिए उकसाते रहते हैं। धर्म के नाम पर आडम्बर रचकर जनता को मूल मुद्दों से भटकाकर भ्रमित करती है। खड़गे ने कहा कि मैं किसी की आस्था को ठेस नहीं पहुंचाना चाहता, उन्होंने कहा, आरएसएस-बीजेपी देशद्रोही हैं। गरीबी-बेरोजगारी से मुक्ति चाहिए तो संविधान की रक्षा करें।